
दक्षिण अफ़्रीका में हुए एक अध्ययन के मुताबिक कोरोना वायरस का ओमिक्रॉन वेरिएंट डेल्टा वेरिएंट की जगह ले सकता है । इसकी वजह ये बताई गई है कि ओमिक्रॉन वेरिएंट से संक्रमण के बाद पुराने वेरिएंट के लिए इम्यूनिटी मजबूती हो जाती है ।
हालांकि, ये अध्ययन लोगों के एक छोटे समूह पर ही किया गया है और अभी इसकी अन्य विशेषज्ञों ने समीक्षा नहीं की है ।
न्यूज़ एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक इस अध्ययन में पाया गया है कि जो लोग ओमिक्रॉन वेरिएंट से संक्रमित हुए थे,खासतौर पर जिन्हें वैक्सीन लगी थी,उनमें डेल्टा वेरिएंट के लिए प्रतिरोधक क्षमता यानी इम्युनिटी बढ़ी हुई पाई गई ।
इस अध्ययन में वैक्सीन लगे हुए और बिना वैक्सीन लगे हुए 33 लोगों को लिया गया था । ये लोग ओमिक्रॉन वेरिएंट से संक्रमित थे ।
वैज्ञानिकों ने पाया कि अध्ययन में शामिल होने के 14 दिनों बाद ओमिक्रॉन के बेअसर होने की गति 14 गुना बढ़ गई और डेल्टा वेरिएंट के बेअसर होने की गति 4.4 गुना बढ़ गई ।
अध्ययन करने वाले वैज्ञानिकों के मुताबिक,“ओमिक्रॉन से संक्रमित व्यक्ति में डेल्टा वेरिएंट के बेअसर होने की गति बढ़ना डेल्टा वेरिएंट के किसी व्यक्ति को दुबारा संक्रमित करने की क्षमता को घटा सकता है ।”
वैज्ञानिकों के अनुसार ओमिक्रॉन के डेल्टा की जगह लेने का क्या परिणाम होगा ये इस बात पर निर्भर करेगा कि ओमिक्रॉन घातक है या नहीं “अगर ओमिक्रॉन कम घातक निकलता है तो कोविड-19 के गंभीर मामलों की संख्या कम हो जाएगी और ये लोगों के लिए कम ख़तरनाक साबित होगा ।”