चीनी अधिकारियों का कहना है कि चीन में बाहर से आने वाले कुछ लोगों में B1617 वैरिएंट पाए जाने की ख़बर के बाद देश में हाईअलर्ट जारी कर दिया गया है ।
कोरोना वायरस का यह वैरिएंट सबसे पहले भारत में मिला था ।
हालांकि वैज्ञानिकों में अभी भी इस बात को लेकर बहस हो रही है कि क्या कोरोना वायरस के इसी वैरिएंट के कारण भारत में दूसरी लहर इतनी ज़्यादा ख़तरनाक हो गई है ।
चीनी सेंटर फ़ॉर डिज़ीज़ कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (सीडीसी) के प्रमुख वू ज़ुनयू ने प्रेस वार्ता में इस बात की पुष्टि की है लेकिन उन्होंने यह नहीं बताया कि कोरोना वायरस का यह वैरिएंट कितने लोगों में पाया गया है ।
वू ज़ुनयू ने कहा कि चीन के कुछ शहरों में भारत के म्यूटेंट स्ट्रेन का पाया जाना चीन के लिए चिंता का विषय है । उन्होंने यह नहीं बताया कि चीन के किस शहर में यह वैरिएंट पाया गया है ।
उन्होंने कहा कि भारत में कोरोना की दूसरी लहर से पैदा हुआ संकट और दूसरी जगहों पर भी कोरोना के मामले एक बार फिर हमें चेतावनी देते हैं कि इस महामारी पर नियंत्रण नहीं पाया जा सका है ।
हॉन्ग कॉन्ग से छपने वाले अंग्रेज़ी अख़बार साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट ने 30 अप्रैल के अपने एडिशन में लिखा है कि 28 अप्रैल को चीन के स्वास्थ्य अधिकारियों ने कहा था कि भारत से आने वाले चार और नेपाल से आने वाले एक व्यक्ति कोरोना संक्रमित पाए गए थे लेकिन उन्होंने उस वक़्त यह स्पष्ट नहीं किया था कि नए मामले B1617 वैरिएंट के थे या नहीं ।