
भोपाल । मध्य प्रदेश में अतिथि शिक्षकों द्वारा नियमितीकरण को लेकर लगातार मांग की जा रही है । पिछले दिनों अतिथि शिक्षकों द्वारा धरना प्रदर्शन किए जाने के सवाल पर मध्य प्रदेश के स्कूल शिक्षा मंत्री राव उदय प्रताप ने चौंकाने वाला बयान दिया है ।
स्कूल शिक्षा मंत्री ने कहा कि ‘अतिथि शिक्षकों का नियमितीकरण क्यों करना चाहिए उनका नाम ही अतिथि है । मेहमान बनकर आए हो तो क्या घर पर ही कब्जा करोगे ? हालांकि स्कूल शिक्षा मंत्री ने कहा कि इसको लेकर हमने बैठक की है । उनकी कुछ मांगों पर सरकार विचार कर रही है ।
मंत्री बोले कुछ मांगों पर किया जा रहा विचार
मीडिया से चर्चा के दौरान स्कूल शिक्षा मंत्री ने कहा कि ‘अतिथि शिक्षकों को वहां पदस्थ किया जाता है । जहां गेप है और शिक्षक कम हैं। पिछले दिनों अतिथि शिक्षक आए थे । उन्होंने अपनी मांगे रखी थी इसको लेकर हमने बैठक की है । दो-तीन मांगों पर विचार किया जा रहा है ।
हमारी कोशिश है कि बीच सत्र में अतिथि शिक्षकों को न निकाला जाए, उनके हितों की रक्षा करना हमारी प्राथमिकता है हालांकि जब मंत्री से अतिथि शिक्षकों के नियमितीकरण की मांग पर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि इस बार अतिथि शिक्षकों की संख्या कम हुई है । पिछले साल करीबन 68 हजार अतिथि शिक्षक थे ।
अतिशेष शिक्षकों और युक्तियुक्त करण से स्कूलों में टीचर्स की कमी कुछ कम हुई है । जहां नियमित टीचर नहीं हैं । वहां अतिथि शिक्षक रखे जा रहे हैं । अब जहां पहले से रेग्युलर टीचर हैं । वहां अतिथि शिक्षक क्यों रखे जाएंगे ?
भर्ती भी कर लेंगे तो सैलरी कहां से देंगे उनके कोर्ट के मामले अभी लंबित हैं । इनका जल्द से जल्द निराकरण करने की कोशिश की जा रही है ।
अतिथि शिक्षक कर रहे नियमतिकरण की मांग
अतिथि शिक्षकों ने नियमतिकरण सहित आधा दर्जन मांगों को लेकर पिछले दिनों भोपाल में डेरा डाला था धरना प्रदर्शन के बाद अतिथि शिक्षकों ने सीएम हाउस घेराव की कोशिश की थी । इसके बाद अतिथि शिक्षकों के प्रतिनिधि मंडल ने स्कूल शिक्षा मंत्री से मुलाकात की थी हाल ही में स्कूल शिक्षा विभाग ने 30 फीसदी रिजल्ट का बैरियर खत्म कर दिया है । इससे करीबन 13 हजार अतिथि शिक्षकों को लाभ मिला है । 30 फीसदी से कम रिजल्ट होने पर अतिथि शिक्षक पोर्टल पर ज्वाइन नहीं हो पा रहे थे ।